ऑनलाइन संग्रह उत्पाद
इंडियन बैंक, ऑनलाइन और ऑफलाइन चैनलों के माध्यम से आपकी आवश्यकताओं को पूरा करते हुए आपके निधियों/प्राप्तियों के संग्रह की प्रक्रिया को सरल बनाता है।
- ऑनलाइन संग्रह – आईबी कलेक्ट / आईबी कलेक्ट प्लस (पेमेंट गेटवे सेवाएं)
- ऑफलाइन संग्रह – मल्टी यूटिलिटी पेमेंट्स और ‘वी’ कलेक्ट
- मल्टी यूटिलिटी पेमेंट्स (एमयूपी) – ऑफलाइन चालान केवल इंडियन बैंक की शाखाओं के काउंटरों पर ही स्वीकार किए जाते हैं।
- वी कलेक्ट – एनईएफटी, आरटीजीएस और इंडियन बैंक के शाखाओं के काउंटरों के माध्यम से ऑफ़लाइन चालान का भुगतान, एनईएफटी और आरटीजीएस ट्रांसफर के माध्यम से नेट बैंकिंग।
ऑनलाइन संग्रह – आईबी कलेक्ट (पेमेंट गेटवे सेवाएं):
संस्थान/विभाग/व्यापारी, आईबी कलेक्ट (पेमेंट गेटवे सेवाएं) का उपयोग कर ऑनलाइन भुगतान के विभिन्न माध्यमों से आपने ग्राहकों से भुगतान प्राप्त कर एकत्र कर सकते हैं।
- एपीआई एकीकरण द्वारा अपने वेबसाइट या मोबाइल ऐप आदि के जरिए भुगतान संग्रह आरंभ करें।
- हम उपयोगकर्ता के बेहतर अनुभव के लिए सरल ओपन फॉर्म या एक्सेल आधारित भुगतान प्लेटफॉर्म या भुगतान लिंक आधारित संग्रह मेकानिज़्म प्रदान कर सकते हैं।
आईबी कलेक्ट सेवाओं का लाभ शिक्षण संस्थानों (शुल्क संग्रह के लिए स्कूल और कॉलेज), खुदरा (ई-कॉमर्स), म्यूचुअल फंड व्यापारियों, बीमा व्यापारियों, सरकारी विभागों, कंपनियों द्वारा उपभोक्ताओं, ग्राहकों, एजेंटों, वितरकों, छात्रों, दाताओं, ग्राहकों, उधारकर्ताओं, करदाताओं आदि से शुल्क / बकाया / भुगतान प्राप्त करने के लिए लिया जा सकता है।
प्रमुख विशेषताएं:
- सेवाओं का उपयोग करने के लिए संस्थानों/विभागों को ऑनलाइन संग्रह मॉड्यूल का निःशुल्क एंड टू एंड समाधान।
- मल्टी-मोड भुगतान सुविधा (डेबिट कार्ड, क्रेडिट कार्ड, यूपीआई, वॉलेट, चुनिंदा बैंकों की नेट बैंकिंग, एनईएफटी और आरटीजीएस)।
- रिपोर्ट डाउनलोड करने, रिफंड करने या संस्थागत आवश्यकता के अनुसार कभी भी किसी तरह के प्रश्न को पूछने, मास्टर डेटा तैयार करने एवं प्रबंधन के लिए उपयोगकर्ता के अनुकूल पोर्टल।
- समय पर भुगतान के लिए ग्राहकों को अलर्ट/अनुस्मारक प्रेषण।
संस्थाएं संग्रह के लिए आईबी कलेक्ट/आईबी कलेक्ट प्लस सेवाओं का उपयोग कैसे कर सकते हैं?
- संस्थान का विवरण आईबी कलेक्ट सिस्टम में कॉन्फ़िगर किया जाएगा और संस्था को उपयोगकर्ता के नाम और पासवर्ड के साथ पोर्टल एक्सेस प्रदान किया जाएगा।
- अनुकूलन के बाद, संस्थाएं निर्दिष्ट एक्सेल प्रारूप में एकत्रित की जाने वाली राशि सहित भुगतान के मास्टर विवरण को सिस्टम में अपलोड कर सकते हैं।
- प्रेषकों के उपयोग और भुगतान हेतु संस्था के लिए यूआरएल लिंक निर्मित किया जाएगा।
- इच्छुक प्रेषक, संस्था द्वारा आवश्यक लॉगिन क्रेडेंशियल दर्ज कर सकते हैं तथा भुगतान कर सकते हैं।
- लिंक पर क्लिक करके सीधे भुगतान करने के लिए संस्थान ग्राहकों को भुगतान लिंक भेजने के लिए एसएमएस या मेल की पहल कर सकता है।
- संस्थान उन्हें प्रदान किए गए व्यवस्थापक डैशबोर्ड के माध्यम से तत्काल किए गए लेनदेन को देख सकते हैं।
संस्थान के लिए फायदे:
- अपनी लागत बचाने के लिए इस स्मार्ट तकनीक का उपयोग।
- लचीले आधार पर भुगतान सुनिश्चित करने के लिए प्रेषकों को भुगतान के विविध विकल्पों को सक्षम कर व्यवसाय का विस्तार।
- निर्बान्ध और कागज रहित समाधान।
- धनप्रेषकों को शीघ्र सेवा प्रदान करने के लिए तत्काल लेनदेन की निगरानी।
- संस्थागत सुविधा के अनुसार रिपोर्ट डाउनलोड।
- एडमिन पोर्टल का उपयोग करके आसानी से रिफंड का प्रबंधन।
- ग्राहकों को समय पर भुगतान प्राप्त करने के लिए अलर्ट कॉन्फ़िगरेशन।
- यूपीआई/वॉलेट्स/एनईएफटी/आरटीजीएस/नेट बैंकिंग/डेबिट कार्ड/ क्रेडिट कार्ड जैसे लचीले विकल्पों के माध्यम से सुविधानुसार भुगतान की सुविधा।
- तत्काल आधार पर किए गए भुगतानों के लिए भुगतान की संपुष्टि।
- तेज़ और सुरक्षित भुगतान तंत्र।
- सॉफ्टवेयर/वेबसाइट के विकास के लिए कोई अतिरिक्त लागत नहीं।
- कोई वार्षिक रखरखाव शुल्क या कोई अन्य प्रच्छन्न शुल्क नहीं।
- न्यूनतम लेनदेन शुल्क।
मल्टी यूटिलिटी पेमेंट्स (एमयूपी) – ऑफलाइन चालान केवल इंडियन बैंक की शाखाओं के काउंटरों पर स्वीकार किए जाते हैं।
संस्थान/विभाग/व्यापारी जिन्हें लेनदेन के समय समाधान के लिए आवेदक संख्या, आवेदक का नाम इत्यादि जैसे अधिक विवरण की आवश्यकता होती है, वे किसी भी इंडियन बैंक के शाखा के काउंटर पर स्वीकार किए गए एमयूपी ऑफ़लाइन चालान भुगतान के माध्यम से ग्राहकों से धन एकत्र कर सकते हैं।
संस्थान एपीआई इंटीग्रेशन का उपयोग कर चालान संदर्भ संख्या का सृजन कर सकते हैं।
प्रमुख विशेषताएं:
- एपीआई आधारित एकीकरण का उपयोग करते हुए सरल चालान जनरेशन प्रणाली तैयार करना।
- सहज समाधान
- सहज समाधान और पहचान के लिए एमआईएस उद्देश्य से 6 डिटेल तक का कैप्चर करता है।
- सहज पहचान के लिए भुगतान की गई राशि हेतु 6 शीर्षवार ब्रेक अप तक स्टोर कर सकता हैं।
- स्वचालित एमआईएस रिपोर्ट।
संस्थान या विभाग, संग्रह के लिए सेवाओं का उपयोग कैसे कर सकते हैं:
- संस्थान, एपीआई एकीकरण का उपयोग कर चालान सृजन प्रणाली की पहल करेगा।
- उपयोगकर्ता या प्रेषक, संस्थान या विभाग की वेबसाइट या पोर्टल से चालान उत्पन्न कर सकते हैं और उत्पन्न चालान का प्रिंट भी ले सकते हैं।
- उपयोगकर्ता या प्रेषक, उत्पन्न किए गए चालान का भुगतान करने के लिए इंडियन बैंक की किसी भी शाखा में जा सकते हैं।
- संस्थान के सुचारू समाधान के लिए एमआईएस संबंधित विवरण भेजी जाएगी।
‘वी’ संग्रहण – इंडियन बैंक के शाखाओं के काउंटरों से एनईएफटी, आरटीजीएस एवं नेट बैंकिंग के माध्यम से एनईएफटी, आरटीजीएस अंतरण के द्वारा देय ऑफ़लाइन चालान।
संस्थान/विभाग/व्यापारी, एनईएफटी या आरटीजीएस या ऑफ़लाइन चालान भुगतान का उपयोग कर धन एकत्र कर सकते हैं और अद्वितीय पहचानकर्ता का उपयोग कर इसका मिलान कर सकते हैं। वे हमारी वी कलेक्ट ऑफ़लाइन चालान उत्पाद के माध्यम से अपने ग्राहकों से धन एकत्रित कर सकते हैं।
संस्थान या विभाग अपनी आवश्यकतानुसार, धनप्रेषक विवरण की पहचान करने के लिए प्रत्येक प्रेषक के लिए अद्वितीय खाता संख्या उत्पन्न कर सकते हैं।
प्रमुख विशेषताएं:
- संस्थान के खाते में रियल टाइम क्रेडिट।
- संस्था के खाते में आसान समाधान रीयल टाइम क्रेडिट।
- स्वचालित एमआईएस रिपोर्ट।
संग्रह के लिए संस्थान या विभाग सेवाओं का उपयोग कैसे कर सकते हैं:
- संस्थान, प्रत्येक ग्राहक और उद्देश्य के लिए भुगतान के लिए की गई पहल के लिए अद्वितीय खाता संख्याएं उत्पन्न कर सकते हैं।
- उपयोगकर्ता या धनप्रेषक, संस्थान द्वारा प्रदान किए गए खाता संख्या में भुगतान करेंगे ।
- उपयोगकर्ता या धनप्रेषक, इंडियन बैंक के शाखाओं के काउंटर, एनईएफटी, आरटीजीएस के माध्यम से एवं एनईएफटी और आरटीजीएस ट्रांसफर के माध्यम से भुगतान कर सकता है।
- सहज मिलान के लिए एमआईएस विवरण संस्थान को भेजा जा सकता है।
आवेदन कैसे करें?
कृपया अपने घर/निकटतम इंडियन बैंक की शाखा में जाएँ और आई कलेक्ट / वी (V) कलेक्ट / एमयूपी के लिए आवेदन करें।
फॉर्म भरें और आवश्यक विवरण के साथ इसे शाखा में जमा करें। इंडियन बैंक ऑनलाइन और ऑफलाइन चैनलों के माध्यम से आपकी आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए, आपकी निधियों / प्राप्तियों के संग्रह प्रक्रिया को आसान बनाने के लिए समाधान तैयार करता है।
- ऑनलाइन संग्रह – आईबी कलेक्ट / आईबी कलेक्ट प्लस (पेमेंट गेटवे सेवाएं)।
- ऑफलाइन संग्रह – मल्टी यूटिलिटी पेमेंट्स और वी कलेक्ट।
- मल्टी यूटिलिटी पेमेंट्स (एमयूपी) – ऑफलाइन चालान केवल इंडियन बैंक के शाखाओं के काउंटरों पर स्वीकार किए जाते हैं।
- ‘वी’ कलेक्ट – इंडियन बैंक के शाखाओं के काउंटर, एनईएफटी, आरटीजीएस के माध्यम से तथा आरटीजीएस, एनईएफटी के माध्यम से नेट बैंकिंग के द्वारा ऑफ़लाइन चालान देय।
ऑनलाइन संग्रह – आईबी कलेक्ट (पेमेंट गेटवे सेवाएं):
संस्थान/विभाग/व्यापारी आईबी कलेक्ट (पेमेंट गेटवे सेवाओं) का उपयोग करके ऑनलाइन भुगतान विधियों के माध्यम से आपने ग्राहकों से धन संग्रह कर सकते हैं।
- अपनी वेबसाइटों या मोबाइल ऐप आदि के साथ एपीआई एकीकरण द्वारा भुगतान संग्रह आरंभ करें।
- हम उपयोगकर्ता के अनुकूल बेहतर सेवाओं के लिए ओपन फॉर्म या एक्सेल आधारित भुगतान प्लेटफॉर्म या भुगतान लिंक आधारित संग्रह प्रणाली प्रदान कर सकते हैं।
आईबी कलेक्ट सेवाओं का लाभ, शिक्षण संस्थानों (स्कूल और कॉलेज में शुल्क संग्रह के लिए), खुदरा (ई-कॉमर्स), म्यूचुअल फंड व्यापारियों, बीमा व्यापारियों, सरकारी विभागों, कंपनियों द्वारा उपभोक्ताओं, ग्राहकों, एजेंटों, वितरकों, छात्रों, दाताओं, ग्राहकों, उधारकर्ताओं, करदाताओं आदि से शुल्क/बकाया/भुगतान प्राप्त करने के लिए किया जा सकता है।
प्रमुख विशेषताएं:
- सेवाओं का उपयोग करने के लिए संस्थानों/विभागों को ऑनलाइन संग्रह मॉड्यूल का निःशुल्क संपूर्ण समाधान।
- मल्टी-मोड भुगतान सुविधा (डेबिट कार्ड, क्रेडिट कार्ड, यूपीआई, वॉलेट, चयनित बैंकों की नेट बैंकिंग, एनईएफटी और आरटीजीएस)।
- उपयोगकर्ता के अनुकूल एडमिन पोर्टल पर मास्टर डेटा तैयार और प्रबंधित करने, रिपोर्ट डाउनलोड करने, रिफंड शुरू करने या संस्थागत आवश्यकता के अनुसार निर्बाध रूप से प्रश्न करने की सुविधा।
- ससमय भुगतान के लिए ग्राहकों को अलर्ट / रिमाइंडर प्रेषण की सहूलियत।
संस्थान, संग्रह के लिए आईबी कलेक्ट/आईबी कलेक्ट प्लस सेवाओं का उपयोग कैसे कर सकते हैं?
- संस्थान का विवरण आईबी कलेक्ट सिस्टम में कॉन्फ़िगर किया जाएगा और संस्था को उपयोगकर्ता आईडी और पासवर्ड के साथ एक पोर्टल एक्सेस प्रदान किया जाएगा।
- कॉन्फ़िगरेशन के बाद, संस्थान निर्दिष्ट एक्सेल प्रारूप में भुगतान के मास्टर विवरण और एकत्रित की जाने वाली राशि को सिस्टम में अपलोड कर सकते हैं।
- धनप्रेषकों द्वारा एक्सेस और भुगतान के लिए संस्था हेतु यूआरएल लिंक का सृजन किया जाएगा।
- इच्छुक धनप्रेषक संस्थान द्वारा आवश्यक लॉगिन क्रेडेंशियल दर्ज करते हुए, भुगतान कर सकते हैं।
- लिंक पर क्लिक कर सीधे भुगतान के लिए संस्थान ग्राहकों को एसएमएस या ई-मेल से भुगतान लिंक भेजने की पहल कर सकता है।
- संस्थान उन्हें प्रदान किए गए एडमिन डैशबोर्ड के माध्यम से तत्काल किए गए लेनदेन को देख सकते हैं।
संस्थान के लिए फायदे:
- इस स्मार्ट तकनीक का उपयोग कर लागत की बचत।
- लचीले आधार पर भुगतान सुनिश्चित करने के लिए प्रेषकों को भुगतान के विविध विकल्पों को सक्षम कर व्यवसाय का विस्तार।
- निर्बान्ध और कागज रहित समाधान।
- धनप्रेषकों को शीघ्र सेवा प्रदान करने के लिए तत्काल लेनदेन की निगरानी।
- संस्थागत सुविधा के अनुसार रिपोर्ट डाउनलोड।
- एडमिन पोर्टल का उपयोग करके आसानी से रिफंड का प्रबंधन।
- ग्राहकों को समय पर भुगतान प्राप्त करने के लिए अलर्ट कॉन्फ़िगरेशन।
- यूपीआई/वॉलेट्स/एनईएफटी/आरटीजीएस/नेट बैंकिंग/डेबिट कार्ड/ क्रेडिट कार्ड जैसे लचीले विकल्पों के माध्यम से सुविधानुसार भुगतान की सुविधा।
- तत्काल आधार पर किए गए भुगतानों के लिए भुगतान की संपुष्टि।
- तेज़ और सुरक्षित भुगतान तंत्र।
- सॉफ्टवेयर/वेबसाइट के विकास के लिए कोई अतिरिक्त लागत नहीं।
- कोई वार्षिक रखरखाव शुल्क या कोई अन्य प्रच्छन्न शुल्क नहीं।
- न्यूनतम लेनदेन शुल्क।
इंड क्विक कलेक्ट के लिए यहां क्लिक करें
मल्टी यूटिलिटी पेमेंट्स (एमयूपी) – ऑफलाइन चालान केवल इंडियन बैंक की शाखाओं के काउंटरों पर स्वीकार किए जाते हैं।
संस्थान/विभाग/व्यापारी जिन्हें लेनदेन के समय समाधान के लिए आवेदक संख्या, आवेदक का नाम इत्यादि जैसे अधिक विवरण की आवश्यकता होती है, वे किसी भी इंडियन बैंक के शाखा के काउंटर पर स्वीकार किए गए एमयूपी ऑफ़लाइन चालान भुगतान के माध्यम से ग्राहकों से धन एकत्र कर सकते हैं।
संस्थान एपीआई इंटीग्रेशन का उपयोग कर चालान संदर्भ संख्या का सृजन कर सकते हैं।
प्रमुख विशेषताएं:
- एपीआई आधारित एकीकरण का उपयोग करते हुए सरल चालान जनरेशन प्रणाली तैयार करना।
- सहज समाधान
- सहज समाधान और पहचान के लिए एमआईएस उद्देश्य से 6 डिटेल तक का कैप्चर करता है।
- सहज पहचान के लिए भुगतान की गई राशि हेतु 6 शीर्षवार ब्रेक अप तक स्टोर कर सकता हैं।
- स्वचालित एमआईएस रिपोर्ट।
संस्थान या विभाग, संग्रह के लिए सेवाओं का उपयोग कैसे कर सकते हैं:
- संस्थान, एपीआई एकीकरण का उपयोग कर चालान सृजन प्रणाली की पहल करेगा।
- उपयोगकर्ता या प्रेषक, संस्थान या विभाग की वेबसाइट या पोर्टल से चालान उत्पन्न कर सकते हैं और उत्पन्न चालान का प्रिंट भी ले सकते हैं।
- उपयोगकर्ता या प्रेषक, उत्पन्न किए गए चालान का भुगतान करने के लिए इंडियन बैंक की किसी भी शाखा में जा सकते हैं।
- संस्थान के सुचारू समाधान के लिए एमआईएस संबंधित विवरण भेजी जाएगी।
‘वी’ संग्रहण – इंडियन बैंक के शाखाओं के काउंटरों से एनईएफटी, आरटीजीएस एवं नेट बैंकिंग के माध्यम से एनईएफटी, आरटीजीएस अंतरण के द्वारा देय ऑफ़लाइन चालान।
संस्थान/विभाग/व्यापारी, एनईएफटी या आरटीजीएस या ऑफ़लाइन चालान भुगतान का उपयोग कर धन एकत्र कर सकते हैं और अद्वितीय पहचानकर्ता का उपयोग कर इसका मिलान कर सकते हैं। वे हमारी वी कलेक्ट ऑफ़लाइन चालान उत्पाद के माध्यम से अपने ग्राहकों से धन एकत्रित कर सकते हैं।
संस्थान या विभाग अपनी आवश्यकतानुसार, धनप्रेषक विवरण की पहचान करने के लिए प्रत्येक प्रेषक के लिए अद्वितीय खाता संख्या उत्पन्न कर सकते हैं।
प्रमुख विशेषताएं:
- संस्थान के खाते में रियल टाइम क्रेडिट।
- संस्था के खाते में आसान समाधान रीयल टाइम क्रेडिट।
- स्वचालित एमआईएस रिपोर्ट।
संग्रह के लिए संस्थान या विभाग सेवाओं का उपयोग कैसे कर सकते हैं:
- संस्थान, प्रत्येक ग्राहक और उद्देश्य के लिए भुगतान के लिए की गई पहल के लिए अद्वितीय खाता संख्याएं उत्पन्न कर सकते हैं।
- उपयोगकर्ता या धनप्रेषक, संस्थान द्वारा प्रदान किए गए खाता संख्या में भुगतान करेंगे ।
- उपयोगकर्ता या धनप्रेषक, इंडियन बैंक के शाखाओं के काउंटर, एनईएफटी, आरटीजीएस के माध्यम से एवं एनईएफटी और आरटीजीएस ट्रांसफर के माध्यम से भुगतान कर सकता है।
- सहज मिलान के लिए एमआईएस विवरण संस्थान को भेजा जा सकता है।
आवेदन कैसे करें?
कृपया अपने घर/निकटतम इंडियन बैंक की शाखा में जाएँ और आई कलेक्ट / वी (V) कलेक्ट / एमयूपी के लिए आवेदन करें।
फॉर्म भरें और आवश्यक विवरण के साथ इसे शाखा में जमा करें।
( अंतिम संशोधन May 30, 2024 at 03:05:25 PM )